28.3 C
Mandlā
Wednesday, May 21, 2025
The viral
Homeमध्यप्रदेशलिंगानुपात को कम करने के लिये सभी को मिलकर कार्य करने की...

लिंगानुपात को कम करने के लिये सभी को मिलकर कार्य करने की आवश्यकता – कलेक्टर

पीसी-पीएनडीटी एक्ट के प्रभावी क्रियान्वयन हेतु महत्वपूर्ण कार्यशाला का आयोजन

ग्वालियर। खुशी की बात है कि वर्तमान समय में बेटियां शिक्षा, स्पोर्ट्स, शासकीय सेवा या अन्य क्षेत्रों में अपना नाम रोशन कर रही हैं। बेटियों को पीसी-पीएनडीटी एक्ट के संबंध में भी जानकारी हो, इसके लिये हमें सार्थक प्रयास करने की आवश्यकता है। कलेक्टर श्रीमती रुचिका चौहान ने गर्ल्स काउण्टर नईदिल्ली एवं महादेव समर्पण सेवा संस्था ग्वालियर के सहयोग से स्वास्थ्य विभाग द्वारा लिंगानुपात बढ़ाने एवं पीसी-पीएनडीटी एक्ट के प्रभावी क्रियान्वयन के लिये आयोजित कार्यशाला में यह बात कही।

          कलेक्टर श्रीमती रुचिका चौहान ने कहा कि हमें अपनी प्लानिंग में बदलाव कर ऐसा प्रभावी बनाना होगा, ताकि इसका लाभ समाज तक पहुँच सके। इसके लिये साप्ताहिक, मासिक व त्रैमासिक कार्ययोजना बनाने की आवश्यकता है। उन्होंने नोडल अधिकारी पीसी-पीएनडीटी एक्ट डॉ. प्रबल प्रताप सिंह से कहा है कि एक सप्ताह में इसकी कार्ययोजना बनाकर प्रस्तुत करें। उन्होंने यह भी कहा कि अल्ट्रासोनोग्राफी सेंटर के निरीक्षण हेतु गठित दलों का उन्मुखीकरण करने की आवश्यकता है। इसके साथ ही निरीक्षण टीम से निरंतर फीड बैक भी मिलना चाहिए।

          कलेक्टर श्रीमती चौहान ने कहा कि ग्वालियर जिले में बालक-बालिकाओं के अंतर को कम करने के लिये हम सबको एकजुट होकर काम करने की आवश्यकता है। प्रशासन या विभाग अकेले इस दिशा में कोई बदलाव नहीं ला सकेगा। हम सबको मिलकर मिशन मोड पर काम करना होगा। उन्होंने आश्वस्त किया कि उक्त कार्य में सभी विभागों का हर संभव सहयोग भी मिलेगा।

          जिला प्राधिकरण अधिकारी पीसी-पीएनडीटी एक्ट एवं मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. आर के राजौरिया ने कार्यशाला में कहा कि पीसी-पीएनडीटी एक्ट का पालन कराने के लिये स्वास्थ्य विभाग हर संभव प्रयास कर रहा है। जागरूकता कार्यक्रमों का आयोजन भी किया जा रहा है। जागरूकता कार्यक्रम के माध्यम से ग्वालियर जिले में बालक-बालिकाओं के अंतर को समान करने की दिशा में भी सार्थक प्रयास किए जा रहे हैं।

          कार्यशाला में डॉ. के के दीक्षित ने कहा कि पीसी-पीएनडीटी एक्ट का प्रभावी क्रियान्वयन आवश्यक है, ताकि किसी भी महिला के साथ कोई गलत व्यवहार न हो। इस एक्ट के तहत सूचना मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी को दी जा सकती है। सूचना देने वाले का नाम पूरी तरह से गोपनीय रखा जाता है।

          पीसी-पीएनडीटी एक्ट की पूर्व सदस्य श्रीमती मीना शर्मा ने कहा कि पूर्व में मेरे द्वारा पाँच स्टिंग ऑपरेशन किए गए हैं, जिसमें प्रभावी कार्रवाई भी हुई है। इस मौके पर पीसी-पीएनडीटी एक्ट के नोडल अधिकारी डॉ. प्रबल प्रताप सिंह ने एक्ट के संबंध में विस्तार से जानकारी दी।

          कार्यशाला में ऑनलाइन शामिल सलाहकार गर्ल्स काउण्टर दिल्ली वर्षा देशपाण्डे, यूनीसेफ की अनुज्ञा गुलाटी ने पीसी-पीएनडीटी एक्ट के तहत किस प्रकार निरीक्षण किए जा सकते हैं, इस संबंध में विस्तार से जानकारी दी।

          कार्यशाला में उपस्थित प्रतिभागियों ने लिंगानुपात बढ़ाने एवं पीसी-पीएनडीटी एक्ट के प्रभावी क्रियान्वयन हेतु अपने महत्वपूर्ण सुझाव दिए।

RELATED ARTICLES

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

- Advertisment -
The Viral Patrika

Most Popular

Recent Comments

error: Content is protected !!